अनजानों से भरी
बातें हैं सबकी देखो,
कुछ सुनी, कुछ अनकही
ये साथ के राही
कुछ कुछ पहचाने से हैं,
फिर एक पल लगता है
कितने बेगाने से हैं...
ये छोटा बच्चा
इतना प्यारा क्यों हैं,
इसकी बातों का पिटारा
इतना सारा क्यों हैं?
इस औरत के गहने
चमक-चमक रहे हैं
आँखों में ख़ुशी लिए